प्रेमचंद व् उनकी बेटी की दर्द भरी कहानी Anmol Arora April 6, 2023 मेरा नाम प्रेमचंद है । मैं कबीर दास जी व रविदास जी को अपना भगवान मानता था मानता हूँ और मानता ही रहूँगा । में… Continue Reading
आशिकी भी और शिकवे भी ? Part -3 admin May 20, 2020 हजूर महाराज संत गुरमीत राम रहीम सिंह जी इन्सां अपने एक भजन द्वारा फरमाते हैं:- टेक:- प्रेम पाके जो मुर्शिद का जीआ करते हैं। ऐसे… Continue Reading
आशिकी भी और शिकवे भी ? Part -4 admin May 20, 2020 बड़ा मुश्किल है इन्सां का इन्सां होना। इसी प्रकार सच्चा मुर्शिद ही होता है जो इन्सान के हर पल की खबर रखता है। ऐसे पल… Continue Reading
आशिकी भी और शिकवे भी ? Part -2 admin May 19, 2020 भाई मण्झ की पूरी कहानी “मण्झ प्यारा गुरू को, गुरू मण्झ प्यारा। भाई मण्झ के सिर पर साहूकार का बहुत ऋ ण हो गया, इतना… Continue Reading
आशिकी भी और शिकवे भी ? Part -1 admin May 17, 2020 सजदे में सर और लब पे शिकवा, ये तो आशिकी की तौहीन है यारो। पूर्ण मुर्शिद एक ऐसा मानवीय अस्तित्व है जो मालिक परमात्मा की… Continue Reading
दर-बेदर को मजबूरी कहना कायरता Part 3 admin May 12, 2020 ‘खुदा की खुदाई में हर शू अमल है जरूरी न होता तो हरगिज न होता।’ ‘ जब जागे तभी सवेरा’ क ‘ी कहावत को ध्यान… Continue Reading
दर-बेदर को मजबूरी कहना कायरता Part 2 admin May 11, 2020 हमारा अपने माता-पिता से सम्बन्ध कुछ वर्षों तक रहता है अथवा दूसरे अर्थों में संयोगवश हम निश्चित समय पर इक्ट्ठे रहते हैं। अपने पिता के… Continue Reading